एनटी न्यूज़डेस्क/प्रयागराज
प्रयागराज: सितंबर का पूरा महीना ‘राष्ट्रीय पोषण माह’ के तौर पर मनाया जाता है। इसकी शुरुवात 8 मार्च 2018 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने की थी इसका मुख्य उद्देश्य जनआन्दोलन और जन भागीदारी से कुपोषण को मिटाना है। इसके सकारात्मक परिणाम भी सामने आए हैं। बच्चों को कुपोषण से बचाने और उनको स्वस्थ्य रखने के लिए इस वर्ष भी सितम्बर माह को पोषण माह के रूप में मनाया जा रहा है। बाल विकास सेवा एवं पुष्टाहार विभाग इसके लिए तैयार है।
पोषण और उपरी आहार पर परामर्श
शहर प्रथम, बाल विकास परियोजना, पोषण माह का शुभारम्भ करते हुए जिला कार्यक्रम अधिकारी मनोज कुमार राव ने बताया कि पोषण अभियान के अंतर्गत महिलाओं व बच्चों के बेहतर स्वास्थ्य के लिए इस वर्ष भी सितम्बर माह को पोषण माह के रूप में मनाया जा रहा है जिसके लिए पूरी कार्ययोजना बन चुकी है और उस पर कार्य शुरू हो गया है। कोरोना के कारण इस बार स्थिति काफी अलग है फिर भी कोविड-19 के गाइडलाइन और सोशल डिसटेन्सिंग का पालन करते हुए हमारी आंगनवाड़ी कार्यकर्त्ता घर घर जा कर कुपोषित और अति कुपोषित बच्चों का उम्र, लम्बाई और वज़न के आधार पर चिन्हीकरण और उनकी मॉनिटरिंग करेंगी। आंगनवाड़ी कार्यकत्री गृह भ्रमण के दौरान माता पिता को बच्चों के स्वास्थ्य लाभ के लिए पोषण और उपरी आहार पर परामर्श देंगी और उनको पोषण वाटिका (किचन गार्डन) बनाने के लिए प्रोत्साहित भी करेंगी।
कुपोषित बच्चों की संख्या घटकर 17 हजार
इसके साथ ही सामुदायिक स्थलों और लाभार्थियों के घर पर पौधरोपण के लिए जनजागरूकता का कार्य भी होगा। आंगनवाड़ी सेंटर के पास, स्कूल के पास खाली जगह में ऐसी सब्जियों और फलों के पौधे लगायें जायेंगे जो सेहत के लिए बहुत ही लाभदायक होते हैं। उन्होने बताया कि जिले में कुल 4499 आंगनबाड़ी केंद्र हैं, जो अपने अपने क्षेत्रों में कुपोषण को हराने की जंग लड़ रहे हैं। वर्ष 2017 में जनपद में कुपोषित बच्चों की संख्या 33 हजार से कुछ ज्यादा थी। सरकार ने इसके लिए बचपन दिवस, ममता दिवस, लाडली दिवस, गोद भाराई, वी.एच.एन.डी. जैसे कई कार्यक्रम चलायें जिसका बहुत लाभ मिला और अब कुपोषित बच्चों की संख्या घटकर 17 हजार पर आ गयी है ।
यह कार्यक्रम पूरे महीने चलेगा
इस पोषण माह में डिजिटल प्लेटफार्म का भी पूरा इस्तेमाल होगा। सेक्टर स्तर पर आंगनवाड़ी कार्यकत्रियों के बीच ऑनलाइन पोषण प्रतियोगिता, स्तनपान एवं उपरी आहार पर ई पोषण चौपाल और विधालयों में भी पोषण पर ऑनलाइन प्रतियोगिताएँ आयोजित करायी जायेंगी जिसके लिए बाल विकास/स्वास्थ्य विभाग /एन.आर.एल.एम./शिक्षा विभाग व अन्य मिल कर काम करेंगे। यह कार्यक्रम पुरे महीने चलेगा ।