न्यूजटैंक्स / लखनऊ डेस्क ।
“दोस्तों के बिना ज़िन्दगी अधूरी है” क्योंकि दोस्ती का रिश्ता भले ही खून का रिश्ता ना हो, बल्कि यह रिश्ता किसी पारिवारिक रिश्ते से काम नहीं होता है। दोस्ती का रिश्ता सबसे अनमोल रिश्तों में से एक होता है। जन्म होने के साथ ही कुछ रिश्ते हमें स्वतः मिल जाते है परन्तु दोस्ती ही एक मात्र ऐसा रिश्ता है जिसे हम खुद बनाते है। इसीलिए इसको दिल का रिश्ता का रिश्ता भी कहा जाता है। प्राचीन काल से ही दोस्ती की मिसाल दी जाती है। भगवान श्री कृष्णा द्वारका के राजा थे और उनके परम मित्र सुदामा एक गरीब ब्राह्मण था। आज भी इनकी मित्रता को सर्वश्रेष्ठ कहा जाता है।
कब मनाया जाता है ?
आज अमेरिका जैसे विश्व के अनेक देशों के साथ – साथ भारत में भी हर साल फ्रेंडशिप डे मनाया जाता है। इसको हिंदी में ‘मित्रता दिवस’ कहा जाता है। दोस्ती, प्यार और भाईचारे के इस दिन में सभी मित्र एकजुट होकर इस दिन को मानते है। पुरे विश्व भर में इसको प्रत्येक वर्ष अगस्त के पहले रविवार को मनाया जाता है।
अगस्त में शुरू हो जाएगा त्योहारों का सिलसिला
मित्र दिवस का इतिहास
फ्रेंडशिप डे मनाने की शुरुआत पहली बार वर्ष 1958 में हुई जब पहली बार पैराग्वे में एक दिन को अंतरराष्ट्रीय मित्रता दिवस के रूप में इस दिन को मनाया गया। लेकिन उस समय इसको मानाने का अंदाज़ थोड़ा अलग था। ग्रीटिंग कार्ड के जरिए मित्रों को शुभकामनाएं भेजी जाती थी।
कोरोना ने डाला खलल
पिछले साल की तरह इस साल भी हमें इसे कोरोना महामारी के बीच ही मनाना पड़ेगा। कोरोना गाइडलाइन्स का पालन करते हुए हमें घरों से बाहर कम निकलना चाहिए और सोशल मीडिया या कॉल से ही अपने इष्ट मित्रों को बधाई देनी चाहिए और वे कितने खास हैं उन्हें यह एहसास दिलाना चाहिए।