एनटी न्यूज़डेस्क/प्रयागराज
प्रयागराज: कोरोना महामारी से बचाव के लिए चिकित्सकों ने लोगों की बेहतर प्रतिरोधक क्षमता को सबसे ज्यादा कारगर माना और लोगों को अपनी प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने के लिए कहा। पर कोरोना के चलते लोगों की आर्थिक स्थिति भी कमज़ोर हुई है और इसकी वजह से कमजोर वर्ग के खान-पान पर सीधा असर पड़ा है । हर व्यक्ति को अपनी रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए उचित आहार की आवश्यकता है वहीं टी बी रोग से ग्रस्त व्यक्ति के लिए ये और भी ज़रूरी हो जाता है।
अभी तक 4803 मरीजों का रजिस्ट्रेशन हुआ
जिला क्षयरोग अधिकारी डॉ अरुण तिवारी ने बताया कि टी बी एक गंभीर बीमारी है जिसे जड़ से ख़त्म करने के लिए भारत सरकार राष्ट्रीय स्तर पर मुहिम चला रही है। टी बी के रोगी के लिए दवा के साथ ही अच्छे पोषण की भी बहुत आवश्यकता होती है तभी रोगी को पूरा लाभ मिलता है। कोविड-19 की वजह से लोगों को आर्थिक रूप से कई परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है पर इस स्थिति में उपचाराधीनो को निक्षय योजना का लाभ मिल रहा है जिसके अंतर्गत प्रत्येक उपचाराधीन को उचित पोषण के लिए 500 रूपय प्रतिमाह दिया जाता है। यह राशि मरीज़ को तब तक दी जाती है जब तक वह पूरी तरह से ठीक नहीं हो जाते हैं। योजना के सभी लाभार्थियों को इस योजना की धनराशि सीधे उनके बैंक खाते में दी जाती है। उन्होंने बताया की इस वर्ष 1 जनवरी से लेकर अभी तक 4803 मरीजों का रजिस्ट्रेशन हुआ है। इनमे से 3379 मरीजों को 6607500 लाख रूपए का भुगतान अभी तक किया जा चुका है। शेष का भुगतान प्रक्रिया में हैं जो जल्दी ही पूरा हो जायेगा।
उन्होंने बताया कि टी बी के उपचाराधीनों के लिए मास्क का प्रयोग आवश्यक है। जिस किसी को भी खांसी, बुखार या वज़न कम हो रहा हो वह तुरंत नजदीकी प्राथमिक या सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र से संपर्क कर टी बी की जाँच अवशय करवायें, जांच वा उपचार पूरी तरह से नि:शुल्क है। विलम्ब करने पर स्थिति ख़राब हो सकती है और बीमारी गंभीर हो सकती है।
निक्षय पोषण योजना का लाभ प्राप्त कर रहे लाभार्थी बहोरीपुर गाँव के सुरेश ने बताया कि वह मेहनत मजदूरी कर अपना घर चलाते हैं, अपना जीवन बचाने के लिए स्वास्थ्य विभाग और सरकार के आभारी हैं और आज वह स्वास्थ्य विभाग की इस योजना के कारण कोरोना काल में भी अपने परिवार और बच्चों के साथ हैं और पोषण राशि से अच्छा पौष्टिक आहार ले पा रहे हैं। थरवई गाँव के हीरालाल की दो बेटियां भी उपचाराधीन हैं और निक्षय योजना का लाभ प्राप्त कर रही हैं जिससे वे दोनों बेटियों की पोषण से जुड़ी सभी ज़रुरतो को पूरा कर रहे हैं। वे निक्षय पोषण योजना को आर्थिक रूप से कमज़ोर मरीजों के लिए मददगार साबित हो रही है।