न्यूज़ टैंक्स डेस्क
कृषि कानून के खिलाफ चल रहे किसान आंदोलन आज 67वा दिन है। वही किसान और सरकार के बिच अगली बातचीत 2 फ़रवरी को होनी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को इस मामले पर दखल दिया था। उन्होंने कहा कि सरकार किसान से बातचीत के लिए तैयार है, ऐसी बिच की दुरी महज एक फ़ोन कॉल की है। वही दूसरी तरफ भारतीय किसान यूनियन के मुखिया नरेश टिकैत ने कहा है कि सरकार द्वारा जो किसान गिरफ्तार किये गए है उन्हें छोड़े और बातचीत के लिए मंच तैयार करे। साथ उहोंने यह भी कहा हैं कि हम प्रधानमंत्री मोदी की गरिमा को कायम रखेंगें, व् तिरेंगे को अपमान नही होने देगें। 22 जनवरी को सरकार और किसान नेताओं के बीच 12वें दौर की बैठक हुई थी। जिसके बाद सरकार ने कहा था कि नए कानूनों में कोई कमी नहीं है। इसके पहले 20 जनवरी को हुई मीटिंग में केंद्र ने डेढ़ साल तक नए कृषि कानूनों को लागू नहीं करने और MSP पर बातचीत के लिए कमेटी बनाने का प्रस्ताव रखा
बीते 6 दिनों में हुई 2 बार हिंसा, 38 FIR और 84 गिस्तार।
72 गणतंत्र दिवस यानी 26 जनवरी को किसान ट्रैक्टर परेड के दौरान दिल्ली में लाल किला समेत कई जगहों पर हिंसा हुई थी। इसके बाद 29 जनवरी को सिंघु बॉर्डर पर भी पुलिस और आंदोलनकारियों के बीच हिंसक झड़प हुई। इस मामले में अब तक 44 लोगों को गिरफ्तार हो चुका है।
ट्रैक्टर रैली की जांच कर रही दिल्ली पुलिस ने रैली में शामिल ट्रैक्टरों के रजिस्ट्रेशन नंबर और मोबाइल कॉल डेटा की पड़ताल की है। पुलिस को हिंसा से संबंधित 1700 वीडियो क्लिप और CCTV फुटेज भी मिल हैं। अब तक दिल्ली पुलिस ने 38 FIR दर्ज की हैं और 84 लोगों को गिरफ्तार किया है। सिंघु, टीकरी और गाजीपुर बॉर्डर पर इंटरनेट सर्विस 31 जनवरी की रात 11 बजे तक बंद कर दी है।