Thursday , 18 April 2024

डिमेंशिया/ अल्जाईमर जागरूकता सप्ताह

प्रयागराज : मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम, के अंतर्गत डिमेंशिया/ अल्जाईमर जागरूकता सप्ताह की शुरुआत की गई जिसके अंतर्गत प्रथम दिवस में मोतीलाल नेहरू मंडलीय चिकित्सालय की प्रमुख अधीक्षकl डॉ इंदु कनौजिया के नेतृत्व में जिला मानसिक स्वास्थ्य कार्यक्रम की टीम द्वारा ओपीडी में आने वाले सभी बुजुर्ग मरीजों को डिमेंशिया और अल्जाइमर के बारे में विस्तार से बताया गया उससे संबंधित पंपलेट तथा अस्पताल में उपलब्ध निशुल्क सुविधाओं के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई l

डिमेंशिया किसी विशेष बीमारी का नाम नहीं बल्कि एक बड़े से लक्षणों के समूह का नाम है डिमेंशिया को लोग भूलने की बीमारी भी कहते हैं परंतु डिमेंशिया सिर्फ भूलने का दूसरा नाम नहीं है इसमें अन्य कई लक्षण भी होते हैं जैसे नई बातें याद करने में दिक्कत होना, तर्क को समझ ना पाना, लोगों से मेलजोल करने में झिझक, अपनी भावनाओं को संभालने में मुश्किलों का सामना करना, व्यक्तित्व में बदलाव होना इत्यादि यह सभी लक्षण मस्तिष्क की हानि के कारण होते हैं और जिंदगी के हर पहलू में दिक्कतें पैदा करते हैं डिमेंशिया के कई प्रकार होते हैं जैसे अल्जाइमर लुइ बॉडीज नाड़ी संबंधी फ्रंटोटेंपोरल लोग विकार |

मानसिक स्वास्थ्य टीम के मनोचिकित्सक डॉ राकेश कुमार पासवान नैदानिक मनोवैज्ञानिक डॉ. ईशान्या राज, डिमेंशिया के बारे में बताते हुए कहती हैं कि जब डिमेंशिया होता है तो व्यक्ति की याददाश्त कमजोर हो जाती है, एकाग्रता में कमी आ जाती है, सोचने में कठिनाई होती है, वह छोटी-छोटी आम समस्याओं को भी नहीं सुलझा पाता, उसे शब्दों के चुनाव में कठिनाई आने लगती है उसके दैनिक जीवन में काफी समस्याओं का सामना करना पड़ता है| इसी को ध्यान में रखते हुए पूरे सप्ताह बुजुर्गों में डिमेंशिया संबंधित लक्षणों के बारे में बताते हुए उपचार किया जाएगाl टीम के मनोचिकित्सा सामाजिक कार्यकर्ता डॉ जय शंकर पटेल द्वारा वृद्धजनों के हित में डिमेंशिया से बचने के मनो सामाजिक उपायों के बारे में विस्तार से जानकारी दी गयी l
शैलेश कुमार साइकेट्रिक नर्स द्वारा डिमेंशिया में दवाइयों की अहमियत पर प्रकाश डालते हुए चर्चा की गयी |

इसी क्रम में जागरूकता सप्ताह के दूसरे दिन आधारशिला वृद्ध आश्रम नैनी में मानसिक स्वास्थ्य कैंप का आयोजन किया जाएगा जहां सभी बुजुर्गों में डिमेंशिया के लक्षणों को मनोवैज्ञानिक तौर से परिक्षण किया जाएगा |