एनटी न्यूज़ डेस्क / लखनऊ
मन में दुःख और आक्रोश भी. आखिर कौन है जिसने यह राक्षसी कृत्य कर दिया. इन्हीं प्रश्नों को मन में भरे संस्कृति के लिए न्याय की गुहार करते हुए सड़कों पर कैंडल मार्च कर ‘वी वांट जस्टिस फॉर संस्कृति’ और ‘संस्कृति को न्याय दो’ के नारा लगाते रविवार के शाम को निकले पॉलीटेक्निक के छात्र-छात्राएं.
अंतर्मन में दुःख भी इतना कि दस-पंद्रह मिनट में सड़क पर बैठकर करने लगते थे शोक सभा.
पॉलीटेक्निक की छात्रा संस्कृति की निर्मम हत्या की जानकारी जब से कॉलेज के छात्रों को हुई तब से व्याकुल हो उठे. सोशल मीडिया के माध्यम से संवेदनाएं दी जाने लगीं.
शोक सभा का आयोजन
रविवार शाम छात्र-छात्राएं एकत्रित होकर संस्कृति की आत्मा की शांति के लिए शोक सभा का आयोजन कर ईश्वर से प्रार्थना की.
निकाला कैंडल मार्च
जियो और जीने दो…
साथ ही छात्र हाथों में मोमबत्तियां व संस्कृति के फोटो वाले पोस्टर और ‘संस्कृति को न्याय दो’, ‘जियो और जीने दो’ लिखी हुई तख्तियां लेकर सड़कों पर निकले.
अपने कॉलेज से लगाव इतना कि शोक सभा में 8 साल के पास आउट छात्र भी आए थे.
राहगीरों को दिखा रहे थे तख्तियां…
सड़क से निकलते हुए वाहनों की ओर तख्ती करके सभी छात्र-छात्राएं समाज को दिखा रहे थे कि सबके घर में बेटियां हैं. आखिर उस लड़की को किसकी नजर लगी जो उसे मार दिया गया. क्या समाज के पास इस प्रश्न का उत्तर है. ऐसा दोबारा न होने पाए इसके लिए सरकार व पुलिस क्या कार्रवाई करेगी.
क्या कहते हैं छात्र…
संस्कृति हत्याकांड मामले में पुलिस अभी भी किसी संतोषजनक परिणाम तक नहीं पहुंची है. छात्रों ने अपराधी को जल्द ही गिरफ्तार कर संस्कृति को न्याय दिलवाने की मांग प्रशासन से की. ऐसा 48 घंटे के अंदर न हो पाने पर छात्रों ने अनशन या धरना-प्रदर्शन की बात कही.
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